– 4 फरवरी 2004 को हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में हॉस्टल के रूम से ही उन्होंने फेसबुक की ऑफिशियल लॉन्चिंग की।- इस काम में उनके साथ चार दोस्त एडुआर्डो सावेरिन, एंड्रयू मैक्कोलम, डस्टिन मोस्कोविज और क्रिस ह्यूज भी शामिल थे। – लॉन्चिंग के 6 दिन बाद भी वो सीनियर्स के आरोप में फंस गए। मार्क पर आइडिया चोरी करने का आरोप लगाया।
– मार्क के खिलाफ हार्वर्ड क्रिमसन के पास तीन शिकायतें आ चुकी थीं, जिसे लेकर जांच भी शुरू हो गई थी। – इन सबके बीच मार्क को दूसरे ही साल में ही यूनिवर्सिटी छोड़नी पड़ी और फेसबुक को बढ़ाने का काम शुरू किया। 2004 में ही उन्हें फेसबुक से लिए पहला ऑफिस मिला। – इसके बाद से मार्क और फेसबुक दोनों लगातार तरक्की की राह पर है। 2016 में मार्क का नाम टाइम मैगजीन ने पर्सन ऑफ द ईयर की लिस्ट में शामिल किया। – इस साल फोर्ब्स की लिस्ट में दुनिया के दस सबसे अमीर लोगों में उनका नाम शामिल है। 3760 अरब रुपए की नेट वर्थ के साथ वो पांचवें नंबर पर हैं।

ज़ुकेरबर्ग
फेसबुक के सीईओ और को-फाउंडर मार्क एलियट ज़ुकेरबर्ग जन्म मई 14, 1984 को हुआ था। उनकी गिनती दुनिया के पांचवे सबसे अमीर शख्स के तौर पर होती है। इस समय उनकी नेट वर्थ 3760 अरब रुपए है। उन्होंने फेसबुक की शुरुआत एक छोटे से कमरे से की थी, जो आज इतनी बड़ी कंपनी बन चुकी है। कॉलेज के कमरे से शुरु किया था फेसबुक – जुकरबर्ग 2002 में जब फिलिप एक्सटर एकेडमी से ग्रैजुएशन कर रहे थे, तब वहीं से उनके दिमाग में फेसबुक का आइडिया आया। – यहां कॉलेज ने स्टूडेंट्स के लिए डायरेक्ट्री बना रखी थी, जिसे फोटो एड्रेस बुक कहा जाता है। इसमें कॉलेज के बच्चों की फोटो के साथ पर्सनल जानकारी ऑनलाइन होती थी। – इसके बाद हार्वर्ड में पढ़ाई के दौरान मार्क फेसबुक के अपने प्राइवेट प्रोजेक्ट पर काम किया और इसे ऑफिशियली लॉन्च करने की तैयारी शुरू कर दी।