सइद इश्तियाक अहमद जाफरी उर्फ जगदीप को उनके नाम से कम बल्कि शोले के ‘सूरमा भोपाली’ के रूप में लोग ज्यादा जानते हैं. लोग जगदीप को याद करते हैं तो शोले में निभाया गया यह किरदार कभी नहीं भूलते. सूरमा भोपाली का रोल इतना फेमस हुआ कि इसी नाम से जगदीप ने फिल्म का निर्देशन भी कर दिया. जगदीप ने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत चाइल्ड आर्टिस्ट के रूप में बी आर चोपड़ा की फिल्म ‘अफसाना’ से की थी। इसके बाद चाइल्ड आर्टिस्ट के रूप में ही उन्होंने ‘लैला मजनूं’ में काम किया। जगदीप ने कॉमिक रोल बिमल रॉय की फिल्म ‘दो बीघा जमीन’ से करने शुरू किए थे। फिल्मों में जगदीप ने कई फनी डायलॉग्स भी बोले हैं। जगदीप का हाव भाव काफी अलग है. अपने हाव भाव से दर्शकों को हंसाने वाले जगदीप ने जब अपना यह अंदाज अपनाया था उस समय यह काफी ट्रिपिकल था. उन्होंने उस दौर में काम किया जब फिल्म उद्योग में महमूद, जॉनी वाकर, घूमल, केश्टो मुखर्जी बड़े बड़े कॉमेडियन मौजूद थे. 300 से भी ज्यादा फिल्मों में काम कर चुके जगदीप ‘शोले’, पुराना मंदिर , अंदाज अपना-अपना , फिर वही रात, कुरबानी, शहनशाह,फिल्मों में काम कर चुके हैं. पर्दे पर जगदीप की संवाद अदायगी का अपना अंदाज था और आज भी उनकी फिल्में चेहरे पर मुस्कान बिखेर जाती हैं।
इनके दोनों बेटे जावेद और नावेद जाफरी भी बॉलीवुड में नाम कमा रहे हैं. इनके बेटों ने ही ‘बूगी-बूगी’ लोकप्रिय कार्यक्रम को होस्ट किया है.जावेद और नावेद जगदीप की पहली पत्नी के बेटे हैं। हास्य अभिनेता के रूप में प्रसिद्धि पा चुके जगदीप का निधन 81 साल की उम्र में 8 जुलाई, 2020 को हुआ। बढ़ती उम्र से होने वाली दिक्कतों के चलते उन्होंने अपने प्राण त्याग दिए। उनका निधन मुंबई स्थित अपने घर पर हुआ।