1945 में आज ही के दिन अपनी दो दिन की पत्नी के साथ आत्महत्या करने वाले अडोल्फ़ हिटलर का किस्सा एक ऐसे इंसान की कहानी है जो बनना तो चित्रकार चाहता था पर बन गया दुनिया का सबसे क्रूर तानाशाह.- माना जाता है कि अपनी संभावित हार से निराश होकर, बंकर में छिपे हिटलर ने खुद को गोली मार ली थी, जबकि ईवा ब्रॉन ने ज़हर खाकर आत्महत्या कर ली थी।जर्मनी के म्यूनिख में 6 फरवरी 1912 को जन्मी ईवा पेशे से मॉडल थीं। इनकी पहली मुलाकात अक्टूबर 1929 में म्यूनिख के हॉफमैन्स स्टूडियो में हुई थी। जर्मनी की जनता को इस रिश्ते की भनक तक नहीं थी। इनका रिश्ता 14 साल तक चला। 1930-1940 के बीच हिलटर का घर ईवा ही संभालती थीं।वो दोनों साथ में पार्टी करते थे और अपने कुत्तों नीगस और स्तासी के साथ टहलते थे। लेकिन जैसे जैसे यूरोप में विध्वंस का माहौल बनने लगा, ये दोनों अकेले पड़ने लगे। ये दोनों बर्चेसगेडन में बने अपने घर में चोरी-छिपे मिला करते थे। जब साथ होते तो सिगार पीते, फल खाते और राजनीति की बातें करते।हिटलर हमेशा ईवi को उनकी लिपिस्टिक, हेटरस्टाइल, पहनावे को लेकर प्यार से चिढ़ाया करता था। हिटलर ज्यादातर अपने स्टडी रूम में ईवा के साथ अकेले वक्त बिताता था और इसके बाद दोनों साथ ही सोते थे।ईवा ड्रेसिंग गाउन पहन कर व्हाइन पीती थी और हिटलर चाय। हिटलर के खतों से पता चलता था कि वो ईवा की कितनी चिंता करता था। युद्ध के वक्त वो रोज ईवा को फोन करता था कि वो सही सलामत है या नहीं।20 जुलाई 1944 हिलटर पर हमला होने के बाद से ईवा हिलटर के साथ रेच चांसलेरी के बंकर में रहने लगी। फिर वो दिन आया जिसने इन दोनों के रिश्ते को ही बदल डाला।बात 29 अप्रेल 1945 की है जब हिटलर ने बंकर के इंदर ही ईवा से शादी की और उसे अपनी पत्नी का दर्जा दिया। ये वो वक्त था जब दुश्मन हिलटर के दरवाजे पर खड़े थे और ईवा ने उसे छोड़ कर जाने से मना कर दिया था।उनके आस-पास का इलाका आग में जल रहा था और वे बंकर में शादी कर रह थे। हिटलर ने अपने कर्मचारियों के लिए शादी की पार्टी के तौर पर नाश्ता आयोजित किया। यह शादी सिर्फ 46 घंटे की थी।30 अप्रैल 1945 को उन्होंने कर्मचारियों को दोपहर के 1 बजे आखिरी बार अलविदा कहा और कर्मचारियों ने गोली चलने की आवाज सुनी। दरवाजा खोला तो देखा कि दूल्हा-दुल्हन फर्श पर मृत पड़े हैं।हिटलर ने खुद को गोली मार ली थी और ईवा ने साइनाइड कैप्सूल खा कर अपने प्रेमी के साथ जान दे दी थी। हिटलर मरने से पहले ईवा को अपनी पत्नी बना गया और इनका रोमांस सदा के लिए इतिहास के पन्नों में दर्ज हो गया। यकीनन हिटलर तानाशाह था लेकिन ये कहानी 20वीं सदी की सबसे यादगार प्रेम कहानियों में से एक है जो बताती है कि क्रूर तानाशाह के भीतर भी दिल था।